पटना.राष्ट्रीय मजदूर कांग्रेस (इंटक) बिहार के संबंधित कंस्ट्रक्शन लेबर यूनियन (सीएलयू) ने शुक्रवार को सरकार की मजूदर विरोधी नीतियों के खिलाफ राजधानी में प्रदर्शन किया तथा मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपा गया.इंटक के संगठन मंत्री अखिलेश पाण्डेय ने कहा कि
सीएलयू ने एलान कर रखा है कि राज्य के विभिन्न जिलों में जारी श्रम विरोधी नीतियों को हम बर्दाशत नहीं कर सकते है. गुरूवार को सीएलयू लेबर यूनियन के जिला ईकाई द्वारा निर्माण श्रमिकों के मुद्धों से संबंधित एवं सरकार की मजूदर विरोधी नीतियों के खिलाफ प्रदर्शन किया गया तथा मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपा गया.
राजधानी में आयोजित प्रदर्शन का नेतृत्व इंटक के प्रदेश अध्यक्ष चन्द्र प्रकाश सिंह ने किया. मौके पर उन्होंने कहा कि जो मजदूर आज देश के विकास के मुख्य स्तंभ हैं, सरकार उन्हीं मजूदरों की शक्ति को कमजोर करना चाहती है.बिहार सरकार द्वारा अभी तक न्यूनतम मजदूरी का बिहार में पुनरीक्षण नहीं किया है. बीओसीडब्लू में मजदूरों के निबंधन की प्रक्रिया भी काफी धीमी है. सरकार एवं अन्य निजी स्तरों पर चल रहे निर्माण कार्य में लगे श्रमिकों का निबंधन भी नहीं कराया जा रहा है.सरकार के इस सुस्त रवैये के चलते निर्माण श्रमिकों को काफी कठिनाईयों का सामना करना पड़ रहा है.
श्री सिंह ने कहा कि सरकार नये नीतियों को लाकर श्रमिक संघों की भागदारी को कमजोर करना चाहती है ताकि भविष्य में श्रमिकों का शोषण वह अपनी
मर्जी से कर सकें. परन्तु श्रमिक संघ सरकार की इस मंशा को कामयाब नहीं होने देगी और मजदूरों हितों की रक्षा के लिए हमेशा श्रमिक बहनों एवं भाईयों के साथ हर लड़ाई में उनका साथ देगी.
वहीं सीएलयू के जिला अध्यक्ष धमेन्द्र कुमार ने कहा कि हमारे अध्यक्ष चन्द्र प्रकाश सिंह के नेतृत्व में आगे भी हम सरकार की मजदूर विरोधी नीतियों के खिलाफ एकजूट होकर मजदूरों के हर आंदोलन का हिस्सा बनेंगे.उक्त प्रदर्शन में इंटक के संगठन मंत्री अखिलेश पांडेय सहित कई अन्य यूनियन नेताओं एवं श्रमिक प्रतिनिधियों ने श्रमिकों को संबोधित किया.
पटना जिला में प्रदेश अध्यक्ष चन्द्र प्रकाश सिंह
के नेतृत्व में सीएलयू के प्रतिनिधि मंडल ने मुख्यमंत्री बिहार को ज्ञापन सौंपा.निर्माण श्रमिकों की मांगों के संबंध में एक ज्ञापन मुख्यमंत्री को दिया गया, जिसमें मुख्य मांगे है कि:-
निर्माण कामगारों के निबंधन में श्रमिक संघों की भागीदारी सुनिश्चित हो.
न्यूनतम मजदूरी का बिहार में पुनरीक्षण जल्द हो.
श्रम कानूनों का सख्ती के साथ कार्यान्वयन हो.
प्रवासी मजदूरों का पंचायत स्तर पर पंजीकरण हो.
निर्माण आदि कार्य में लगे मजदूरों का पंजीकरण हो.
इस प्रदर्शन में इंटक के संगठन मंत्री, अखिलेश पाण्डेय, सीएलयू जिला अध्यक्ष, धमेन्द्र कुमार सहित कई अन्य यूनियन नेताओं एवं श्रमिक प्रतिनिधियों ने भी उपस्थित श्रमिकों को सम्बोधित किया.
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