कमजोर मानसून ने बढाई चिंता

गोवा की आजादी में लोहिया का योगदान पत्रकारों पर हमले के खिलाफ पटना में नागरिक प्रतिवाद सीएम के पीछे सीबीआई ठाकुर का कुआं'पर बवाल रूकने का नाम नहीं ले रहा भाजपा ने बिधूड़ी का कद और बढ़ाया आखिर मोदी है, तो मुमकिन है बिधूड़ी की सदस्य्ता रद्द करने की मांग रमेश बिधूडी तो मोहरा है आरएसएस ने महिला आरक्षण विधेयक का दबाव डाला और रविशंकर , हर्षवर्धन हंस रहे थे संजय गांधी अस्पताल के चार सौ कर्मचारी बेरोजगार महिला आरक्षण को तत्काल लागू करने से कौन रोक रहा है? स्मृति ईरानी और सोनिया गांधी आमने-सामने देवभूमि में समाजवादी शंखनाद भाजपाई तो उत्पात की तैयारी में हैं . दीपंकर भट्टाचार्य घोषी का उद्घोष , न रहे कोई मदहोश! भाजपा हटाओ-देश बचाओ अभियान की गई समीक्षा आचार्य विनोबा भावे को याद किया स्कीम वर्करों का पहला राष्ट्रीय सम्मेलन संपन्न क्या सोच रहे हैं मोदी ?

कमजोर मानसून ने बढाई चिंता

नई दिल्ली .कमजोर मानसून से कई राज्यों में फसल पर असर पड़ने की आशंका पैदा हो गई है . दो हफ्ते और न हुई बारिश हुई तो कई राज्यों में सूखा पड़ सकता है . फिर फसल की बुआई भी प्रभावित होगी.मानसून के दौर में लगातार चौथे सप्ताह में भी बारिश कम हुई है.देश के मध्य और पश्चिमी हिस्से में कम बारिश हुई है एशिया की तीसरी सबसे बड़ी और 2.5 ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था वाले भारत की जीडीपी में 15 फीसदी हिस्सेदारी देश की कृषि की है.जो अधिकतर मानसून की बरसात पर निर्भर रहती है .इसलिए किसानो की चिंता बढती जा रही है .दूसरी तरफ देश के कई शहरों में पानी का संकट बढ़ता जा रहा है .मानसून कमजोर पड़ा तो यह संकट और बढेगा .बरसात के पानी के प्रबंधन में वैसे भी हम बहुत कमजोर है .इसी वजह से भूजल का स्तर भी गिरता जा रहा है .

मौसम विभाग के 26 जून तक के आंकड़ों के मुताबिक बीते 50 साल के औसत में इस मानसून में 24 फीसदी कम बारिश हुई है.गौरतलब है कि देश की  55 फीसद कृषि भूमि सिंचाई के लिए बारिश पर निर्भर है.इस साल जनवरी से मार्च तिमाही में बीते चार सालों में सबसे कम गति से विकसित होने वाली अर्थव्यवस्था के लिए कमजोर पड़ता मानसून चिंता का विषय है .इससे महंगाई और बढ़ेगी .

देश के सबसे बड़े सूबे उत्तर प्रदेश में भी दक्षिणी पश्चिमी मानसून कमजोर पड़ गया है. फिलहाल आगामी 29 जून तक उत्तर प्रदेश पर मानसून के मेहरबान होने के आसार नहीं हैं। मौसम निदेशक जेपी गुप्त के अनुसार पिछले दिनों बंगाल की खाड़ी से मानसून ने जो रफ्तार पकड़ी थी उसने पश्चिम बंगाल, उड़ीसा, झारखंड, छत्तीसगढ, बिहार के अधिकांश हिस्सों में और पूर्वी यूपी के कुछ इलाकों में अच्छी बारिश दी.पर बाद में  यह कमजोर पड़ गया इस वजह से उत्तर प्रदेश में यह और आगे नहीं बढ़ सका.अब बंगाल की खाड़ी में दक्षिणी-पश्चिमी मानसून एक बार फिर से जोर पकड़ेगा तभी उत्तर प्रदेश पर इसके मेहरबान होने की उम्मीद है. इस समय  मानसून ट्रफ लाइन दक्षिणी यूपी के ऊपर से गुजर रही है इसलिए  उत्तर प्रदेश में स्थानीय मौसमी बदलावों की वजह से कहीं सामान्य बारिश होने और कहीं गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने का सिलसिला जारी रहेगा. मौसम विभाग के अनुसार अगले 24 घंटों के दरम्यान पूरे उत्तर प्रदेश में कुछ स्थानों पर बारिश होगी या गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ेंगी.

दक्षिण में तेलंगाना में पहुंचकर कमजोर पड़ा मानसून.हालांकि मौसम विभाग ने  अगले पांच दिनों के दौरान कुछ जगहों पर हल्की से मध्यम बारिश और गरज के साथ बौछार पड़ने का पूर्वानुमान किया था.इसके साथ ही मौसम विभाग ने 29 और 30 जून को भारी बारिश होने की उम्मीद जताई है.फोटो -इंडिया वाटर पोर्टल 

  • |

Comments

Subscribe

Receive updates and latest news direct from our team. Simply enter your email below :